परमेश्वर ने देह बनकर, इंसानों के बीच रहकर,
देखी उनकी बुराई, और हालात ज़िंदगी के।
देहधारी परमेश्वर ने महसूस कीं इंसान की मजबूरियां,
इंसान की दयनीयता, इंसान का दुख-दर्द।
देह में परमेश्वर अपने सहज ज्ञान से, हो गया ज़्यादा दयालु
मानव की हालत के लिए, हो गया ज़्यादा चिंतित अपने भक्तों के लिए
अपने भक्तों के लिये।
अपने भक्तों के लिये।
"प्रभु जिनका प्रबंधन करना और जिनको बचाना चाहते हैं,
क्योंकि अपने दिल में वो, उनको बहुत चाहते हैं;"
उसके लिए वो ही सबसे ऊपर हैं।
"प्रभु ने बड़ी कीमत चुकाई है।
कपट भोगा है और चोट खाई है।"
मगर हारता नहीं है परमेश्वर, काम करता रहता है निरंतर,
ना कोई शिकवा, ना पछतावा कोई।
देह में परमेश्वर अपने सहज ज्ञान से, हो गया ज़्यादा दयालु
मानव की हालत के लिए, हो गया ज़्यादा चिंतित अपने भक्तों के लिए
अपने भक्तों के लिये।
अपने भक्तों के लिये।
"मेमने का अनुसरण करना और नए गीत गाना" से
Jesus Song in Hindi—Emulate the Lord Jesus—The Love of the Cross
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